June 9, 2025

राष्ट्रीय पुस्तक मेले के समापन पर विशेष 

Date:

Share post:

ओकार्ड इंडिया और हिमालय मंच द्वारा आयोजित किया गया राष्ट्रीय पुस्तक मेला शिमला के उद्घाटन समारोह से लेकर समापन तक विभिन्न साहित्यिक कार्यक्रम, पुस्तक लोकार्पण, परिचर्चा और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए गए। पाठकों ने मनपसंद पुस्तकों की खरीद की। पर्यटकों ने बारिश में भीगे भीगे शिमला के मौसम में पुस्तकों का भी आनंद लिया। आयोजकों, प्रशासन, संस्थाओं और मौसम की चुहलबाजी में खट्टी-मीठी यादों को समेटे हुए आखिरकार पुस्तक मेला संपन्न हो गया।

राज्यपाल द्वारा पुस्तक मेले का उद्घाटन 
आठवां राष्ट्रीय पुस्तक मेला ओकार्ड इंडिया तथा हिमालय साहित्य संस्कृति एवं पर्यावरण मंच शिमला द्वारा 21 जून से 1 जुलाई 2024 तक आयोजित किया गया। मेले का उद्घाटन हिमाचल प्रदेश के माननीय राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ला ने किया, उन्होंने मेले में प्रतिभागी विद्वानों, लेखकों का अभिनंदन करते हुए पुस्तकों के महत्व बताते हुए कहा कि पुस्तकों में ज्ञान का भंडार छुपा रहता है जिसे प्राप्त करने के बाद मनुष्य जीवन में सफलता प्राप्त करता है।

पुस्तक मेले के संयोजक सचिन कुमार ने बताया कि इस बार वाणी प्रकाशन, राजकमल, प्रकाशन विभाग, आधार प्रकाशन, नायर पब्लिकेशन, सस्ता साहित्य मंडल, मातृवंदना संस्थान, इतिहास शोध संस्थान, निखिल प्रकाशन आदि महत्वपूर्ण एवं प्रसिद्ध प्रकाशको ने स्टाल लगाएं हैं परंतु शिमला में पुस्तक मेला होने के बावजूद भारतीय उच्च अध्ययन संस्थान, भाषा संस्कृति विभाग, राज्य संग्रहालय और हिमाचल भाषा अकादमी द्वारा स्टॉल न लगाए जाने पर लोगों को उनकी पुस्तकों से महरूम होना पड़ा। स्थानीय प्रकाशको में शोध संस्थान नेरी हमीरपुर, मातृवंदना संस्थान शिमला, रवितनया पब्लिकेशन और प्रचंड समय की अवश्य भागीदारी रही है। पुस्तक मेले में विभिन्न प्रकाशको द्वारा अलग-अलग भाषाओं की सभी विधाओं में पुस्तकों के साथ-साथ बच्चों के लिए शिक्षाप्रद खिलौने और पुस्तकें भी उपलब्ध रहीं।

पुस्तक मेले को नगर निगम का सहयोग 
पुस्तक मेले के आयोजन में नगर निगम शिमला का सहयोग सराहनीय रहा है। यहां यह भी बताना जरूरी है कि नगर निगम ने चुनाव के दौरान हर वर्ष शिमला में पुस्तक मेले का आयोजन किए जाने का वादा किया था और हर वर्ष निगम की भागीदारी भी रही।

पुस्तक मेले में जेल के कैदियों की भागीदारी
इस बार ओकार्ड इंडिया और हिमालय मंच द्वारा आयोजित साहित्यिक कार्यक्रमों मे प्रतिभागी लेखन तथा कलाकारों के लिए कंडा जेल से मफलर और कैथू की बेकरी से प्रतिभागी लेखकों, साहित्यकारों कलाकारों तथा श्रोताओं एवं दर्शकों को आयोजकों की ओर से जलपान के लिए सारी खाद्य सामग्री उचित मूल्य पर उपलब्ध करवाई गई। 

रानी प्रतिभा सिंह ने खरीदी किताबें
हिमाचल प्रदेश कांग्रेस की अध्यक्ष रानी प्रतिभा सिंह तीन बार मेले में पधारी। एक बार उन्होंने आधार प्रकाशन पर मोहन साहिल की पुस्तक के लोकार्पण में भाग लिया। दूसरी बार मेले का निरीक्षण करने के बाद मीडिया को संबोधित किया और तीसरी बार व्यक्तिगत तौर पर पुस्तक मेले में विभिन्न स्टालों से पुस्तके खरीदी।

पुस्तक मेले में संजय अवस्थी, विक्रमादित्य सिंह, रोहित ठाकुर ने की शिरकत
पुस्तक मेले के दौरान शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर, लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह, संसदीय सचिव संजय अवस्थी भी पुस्तक मेले में पहुंचे। वह पुस्तकों के लोकार्पण कार्यक्रमों में शामिल हुए और पुस्तक प्रदर्शनीयों का अवलोकन किया।

ओकार्ड़ तथा हिमालय मंच द्वारा प्रकाशकों का सम्मान 
पुस्तक मेले में यह पहली बार हुआ की पुस्तक मेले में प्रतिभागी प्रकाशकों को आयोजक ओकार्ड इंडिया तथा हिमालय मंच द्वारा गेयटी के सभागार में सम्मानित किया गया। देशभर के प्रकाशकों ने पुस्तक मेले की ख़बरों के लिए विभिन्न समाचार पत्रों और मीडिया पर प्रचार-प्रसार के लिए मीडिया समन्वयक हितेन्द्र शर्मा और हिमालयन डिजिटल मीडिया का विशेष आभार जताया।

इस अवसर पर प्रकाशकों ने किसी भी सरकारी विभाग तथा पुस्तकालयों द्वारा पुस्तकों की खरीद न किए जाने तथा शिक्षण संस्थानों द्वारा मेले में भागीदारी न किए जाने पर नाराजगी जताई। पुस्तक मेले के दौरान युवा वर्ग एवं पाठक हिमाचल प्रदेश से संबंधित पुस्तकों के लिए पूछते रहे। ऐसे में ठाकुर राम सिंह इतिहास शोध संस्थान नेरी, हमीरपुर और मातृवंदना संस्थान शिमला, रवितनया पब्लिकेशन और प्रचंड समय द्वारा पुस्तक मेले में की गई भागीदारी सराहनीय है।

हिमालय मंच द्वारा साहित्य उत्सव का आयोजन
हिमालय साहित्य संस्कृति एवं पर्यावरण मंच द्वारा तथा अध्यक्ष एस आर हरनोट के व्यक्तिगत प्रयासों द्वारा हर वर्ष की भांति हिमालय मंच के सदस्यों के सहयोग से विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया गया जिसमें बाल साहित्य मंच, अनुवाद, हिंदी साहित्य एवं आलोचना, कवि सम्मेलन नवरंग गीत संगीत कार्यक्रम, लेखकों तथा प्रकाशको का सम्मान, गीत संगीत पर आधारित नवरंग कार्यक्रम आदि कार्यक्रम में सैकड़ो लेखकों कलाकारों की सक्रिय भागीदारी रही। इन कार्यक्रमों में प्रख्यात साहित्यकार अब्दुल बिस्मिल्लाह, वाणी प्रकाशन की कार्यकारी अध्यक्ष अदिति माहेश्वरी गोयल, डॉ देवेंद्र कुमार गुप्ता, डॉ हेमराज कौशिक, डॉ करम सिंह, डॉ चेतराम गर्ग, डॉ ओम प्रकाश शर्मा, डॉ अंकुश भारद्वाज, प्रोफेसर मीनाक्षी एफ पॉल, डॉ उषा बंदे, प्रोफेसर डीडी शर्मा, राजकुमार वर्मा, देश निर्मोही, डॉ सत्यनारायण स्नेही, हितेन्द्र शर्मा, डॉ देवकन्या ठाकुर, आरती गुप्ता, डॉ. बी आर ठाकुर, जगदीश बाली, डॉ प्रियंका वैद्य आदि कवियों, लेखकों, संपादकों की भागीदारी महत्वपूर्ण रही।

बच्चों ने देखा पुस्तक मेला 
केंद्रीय विद्यालय जाखू के बच्चों ने पुस्तक मेला देखा और इस अवसर पर उन्होंने युवा लेखिका रवितनया के साथ भी बातचीत की। दयानंद पब्लिक स्कूल, डीएवी स्कूल टूटू और आर्य कन्या विद्यालय के शिक्षकों और विद्यार्थियो ने भी पुस्तक मेले में भाग लिया।

गेयटी मे साहित्य उत्सव की धूम
गेयटी सभागार में भाषा संस्कृति विभाग से निशुल्क कार्यक्रम के लिए प्रदत्त सुविधा के अंतर्गत हिमालय मंच द्वारा युवाओं बाल कविता मंच, अनुवाद, हिंदी साहित्य आलोचना, पुस्तक लोकार्पण, नवरंग, कवि सम्मेलन आदि कार्यक्रमों का सफल आयोजन किया गया। शोध संस्थान नेरी द्वारा गांव का इतिहास पुस्तक का लोकार्पण एवं समीक्षा और मातृवंदना संस्थान द्वारा साहित्य संवाद के भव्य साहित्यिक कार्यक्रम आयोजित किए गए। 

पुस्तक मेले में नई किताबों का लोकार्पण  
पुस्तक मेले में आधार प्रकाशन द्वारा अपने स्टॉल पर शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर द्वारा कवि मोहन साहिल की पुस्तक” देवदार तो मौन रहेंगे” का लोकार्पण किया गया। डॉ हेमराज कौशिक की पुस्तक हिमाचल की हिंदी कहानी का विकास एवं विश्लेषण’ का लोकार्पण साहित्यकार अब्दुल बिस्मिल्लाह द्वारा किया गया। तथा कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष प्रतिभा सिंह द्वारा नेहरू और अन्य क्रांतिकारी पुस्तक का आधार प्रकाशन के स्टॉल पर लोकार्पण किया गया। ठाकुर राम सिंह शोध संस्थान द्वारा प्रकाशित तथा डॉ. अंकुश भारद्वाज द्वारा संपादित हिमाचल प्रदेश के 12 जिलों के चयनित 12 गांव के इतिहास का लोकार्पण प्रसिद्ध समाजसेवी राजकुमार वर्मा तथा पूर्व उप कुलपति डी डी शर्मा और डॉ चेतराम गर्ग द्वारा एक भव्य समारोह में किया गया। 

विशिष्ट व्यक्तियों की पुस्तक मेले में उपस्थिति
पूर्व भारतीय प्रशासनिक अधिकारी टी जे नेगी, अजय मित्तल तथा वर्तमान में शिक्षा सचिव राकेश कुमार पुस्तक मेले में पधारे तथा पुस्तकों की खरीद भी की। हिमाचल प्रदेश के शिमला और अन्य भागों से विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लेने पहुंचे लेखकों, साहित्यकारों, कलाकारों ने भी पुस्तकों की खरीददारी की।

ओकार्ड़ इंडिया द्वारा गणेश गनी का सम्मान
ओकार्ड इंडिया द्वारा प्रतिवर्ष की भांति इस साल भी एक साहित्यकार को सम्मानित किए जाने की परंपरा को जारी रखते हुए ओकार्ड साहित्य सम्मान प्रख्यात कवि एवं आलोचक गणेश गनी को उनके साहित्यिक योगदान का मूल्यांकन करते हुए सम्मानित किया गया।

भाषा विभाग ने निशुल्क उपलब्ध करवाया सभागार
पुस्तक मेले के दौरान आयोजित साहित्यिक कार्यक्रमों के लिए भाषा एवं संस्कृति विभाग द्वारा गेयटी थिएटर का कॉन्फ्रेंस हॉल निशुल्क उपलब्ध करवाया गया, जहां पर संस्थाओं द्वारा विभिन्न साहित्यिक कार्यक्रम सफलतापूर्वक आयोजित किए गए कार्यक्रमों में सैकड़ों साहित्यकारों की भागीदारी रही तथा श्रोताओं एवं दर्शकों ने इसका भरपूर आनंद लिया। अंत में मेले को एक दिन का और जीवनदान मिला। जिसका आयोजकों तथा प्रकाशकों द्वारा स्वागत किया गया। 

Daily News Bulletin

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Related articles

AIIA Hosts Iyengar Yoga Workshop for IDY 2025

In celebration of the upcoming International Day of Yoga (IDY) 2025, the All India Institute of Ayurveda (AIIA)...

Himachal Leads Dairy Revolution with MSP Reforms and Cooperative Boost

In a landmark step towards rural empowerment, Himachal Pradesh has become the first state in India to introduce...

New Tourist Trail: Himachal’s Border Belt

In a landmark move aimed at promoting sustainable tourism and inclusive development, Himachal Pradesh is set to open...

Dabur Glucose Champions Youth Fitness with Awareness Drive in Shimla

Dabur Glucose, India’s leading instant energy drink from the House of Dabur, expanded its ‘Energize India’ campaign to...