हिमाचल प्रदेश ग्रामीण आजीविका मिशन (एचपीएसआरएलएम) द्वारा आयोजित हि मईरा सरस मेला 2024 और फूड कार्निवल 10 दिसंबर 2024 को समाप्त हुआ। यह 10 दिवसीय आयोजन शिमला के ऐतिहासिक रिज मैदान में आयोजित हुआ, जिसने हिमाचल प्रदेश की पारंपरिक कला, हस्तशिल्प और सांस्कृतिक समृद्धि को बड़े स्तर पर प्रदर्शित किया।
₹1.93 करोड़ की रिकॉर्ड बिक्री
मेले ने ₹1.93 करोड़ की कुल बिक्री के साथ महिला-नेतृत्व वाले स्वयं सहायता समूहों (एसएचजी) के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की। यह मेला ग्रामीण समुदायों को आत्मनिर्भर बनाने और स्थायी आय के अवसर प्रदान करने के मिशन में मील का पत्थर साबित हुआ।
कार्यक्रम की मुख्य विशेषताएं
1. हस्तशिल्प और कला प्रदर्शन:
- 14 राष्ट्रीय स्टॉल्स: विभिन्न राज्यों के एसएचजी द्वारा प्रस्तुत शिल्पकला।
- 66 हिमाचली स्टॉल्स: हिमाचल प्रदेश के एसएचजी द्वारा निर्मित ऊनी वस्त्र, हस्तनिर्मित उत्पाद, और स्थानीय व्यंजन।
2. पाक-कला का जश्न:
- ऊना का किंब चाट।
- शिमला का कोदरे का सिड्डू।
- किन्नौर के कोदो मोमोज और जलेबी।
- मंडी का मडिंयाल धाम।
- कांगड़ा का कांगड़ी धाम।
3. सांस्कृतिक कार्यक्रम और कार्यशालाएं:
- पारंपरिक हिमाचली नृत्य और संगीत।
- लाइव फूड टस्टिंग और शिल्प प्रदर्शन।
ग्रामीण समुदायों को सशक्त बनाने का प्रयास
यह आयोजन हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण समुदाय, विशेष रूप से महिला-नेतृत्व वाले एसएचजी के लिए नए अवसर लाया। इसने उन्हें अपने उत्पादों को बाजार में लाने, ग्राहक संबंध बनाने, और स्थायी आय के स्रोत विकसित करने में मदद की।
आने वाले आयोजन और विज़न
एचपीएसआरएलएम ने सरस मेले को ग्रामीण भारत की समृद्ध संस्कृति और कारीगरी को प्रदर्शित करने का एक आदर्श मंच बनाने का लक्ष्य रखा है। भविष्य में ऐसे और कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।