हिमचाल प्रदेश के माननीय राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर जी ने आज राष्ट्रीय पुस्तक न्यास, भारत और भाषा और संस्कृति विभाग, हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा आयोजित शिमला पुस्तक मेले का दौरा किया। उन्होंने मेले में आये बच्चो से खास मुलाकात की। यह पुस्तक मेला गेयटी थिएटर और पदम देव परिसर में 3 जुलाई 2022 तक चलेगा। माननीय राज्यपाल ने मेले में आयोजित साहित्य कार्यक्रम ‘लेखकों से विमर्श – हिमाचल प्रदेश की संस्कृति से बच्चों को परिचित करवाना’ सत्र में उपस्थित छात्रों और अतिथियों को सम्बोधित करते हुए अपने कुछ विचार साझा किये। उन्होंने कहा की पुस्तकों के सानिध्य में रहने से मनुष्य का बौद्ध क्षमता बढ़ने की संभावना बानी रहती है। सत्र में मौजूद छात्रों से पाठ्यक्रम के अलावा अन्य विषयों पर पुस्तकें पढ़ने के लिए आग्रह किया। राष्ट्रीय पुस्तक न्यास की सराहना करते हुए कहा की न्यास द्वारा देश भर में लगाए जाने वाले पुस्तक मेले और पुस्तक प्रदर्शिनयां लोगों में पुस्तक पढ़ने की रूचि को बढ़ाने के लिए कारगर साबित हो रही हैं।
‘लेखक से विमर्श’ सत्र में हिमाचल के प्रसिद्ध लेखक डॉ सुशिल कुमार फुल्ल, डॉ सुदर्शन वशिष्ट, डॉ श्रीनिवास जोशी और श्री एस आर हरनोट ने अपने अनुभव और विचार छात्रों से साझा किये। सत्र का समन्वय सुश्री चंद्रकांता ने किया। सत्र में भाग लेने वाले छात्रों को महामहीम राज्यपाल द्वारा न्यास पुस्तकें भेंट की गईं। आज मेले में बच्चों के लिए एक पोस्टर मेकिंग प्रतियोगिता भी आयोजित की गयी जिसमें शिमला के कई प्रख्यात विद्यालयों के छात्रों ने जोरोशोरों से भाग लिया। इस प्रतियोगिता की थीम थी ‘पुस्तक मेले – पुस्तकों का बाज़ार’। भारतीय भाषाओं और अंग्रेजी में प्रदर्शित पुस्तकों में अपनी पसंद के विषयों में उपलब्ध पुस्तकों को लेने के लिए शिमला में लोग अति उत्साहित हैं। मेले में हिमाचल प्रदेश के समृद्ध लोक और पारंपरिक संगीत और नृत्यों को प्रदर्शित करने वाले कई सांस्कृतिक कार्यक्रम भी हुए। शिमला पुस्तक मेले का समय प्रतिदिन 11 से शाम 8 बजे तक है तथा आगंतुकों के लिए प्रवेश निःशुल्क है। छात्रों के लिए पुस्तकों की खरीद पर विशेष छूट भी प्रदान की जा रही है।