कीक्ली रिपोर्टर, 21 मई, 2015, शिमला
राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला, पोर्टमोर शिमला में आज शिक्षा विभाग द्वारा स्कूलों में व्यवसायिक शिक्षा ‘कौशल विकास’ विषय पर एक दिवसीय सेमीनार का आयोजन किया गया, जिसमें प्रदेश के आठ जिलों के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशालाओं के प्रधानाचार्यांे ने भाग लिया। इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य सचिव, (शिक्षा) श्री पी. सी. धीमान ने कहा कि सरकारी विद्यालयों में नवीं कक्षा से दस जमा दो तक की शिक्षा प्राप्त कर रहे विद्यार्थियों के व्यक्तित्व एवं कार्य कुशलता में विकास के लिए व्यवसायिक प्रशिक्षण आरम्भ किया गया है। नवमीं कक्षा से आरम्भ होने वाले इस चतुर्वर्षीय व्यवसायिक कोर्स को करने के बाद रोजगार प्राप्ति के इच्छुक विद्यार्थियों को अपनी आर्थिकी को सृदृढ करने के लिए दस जमा दो की शिक्षा पूरी करने पर ही, रोजगार के कई अवसर प्राप्त हो जाएंगें। व्यवसायिक प्रशिक्षण प्राप्त ये विद्यार्थी, आत्मनिर्भर होकर अपने परिवार की आर्थिकी को बढ़ाने में अपना अहम योगदान दे सकेंगे।
श्री धीमान ने आज ‘आतंकवाद विरोधी दिवस’ के अवसर पर उपस्थित मुख्याध्यापकों व अन्य उपस्थित लोगों को राष्ट्र एकता एवं अखंडता बनाए रखने व आतंकवाद के विरूद्ध डटकर मुकाबला करने की शपथ भी दिलाई। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा व्यवसायिक प्रशिक्षण को राजकीय महाविद्यालयों में भी आरम्भ करने पर विचार किया जा रहा है, जिससे विद्यार्थियों को शिक्षा के साथ रोजगारपरक विषय पढने का अवसर प्राप्त होगा। वर्तमान में प्रदेश के 200 स्कूलों में ऑटोमोबाईल, स्वास्थ्य सुरक्षा, रिटेल सिक्योरिटी, सूचना प्रोद्यौेगिकी, कृषि को वोकेशनल विषय के रूप में पढ़ाया जा रहा है । उन्होंने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा इस वर्ष 300 अन्य स्कूलों में व्यवसायिक शिक्षा को आरम्भ की जाएगी।
श्री धीमान ने उपस्थित प्रधानाचार्यो के स्कूलों के बोर्ड परिणामों का विश्लेषण किया तथा गुणात्मक शिक्षा में वृद्धि के लिए अध्यापकों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। निदेशक, उच्च शिक्षा श्री दिनकर बुराथोकी ने सभी अध्यापकों को आदेश दिए कि वे सरकारी स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता के साथ साथ व्यवसायिक शिक्षा के विकास पर अपना अह्म योगदान दें। उन्होंने सभी अध्यापकों को कहा कि वे पुरातन काल से चली आ रही गुरू- शिष्य परम्परा को कायम रखने में अपनी भागीदारी को सुनिश्चित करनेे का भरसक प्रयास करें।
निदेशक, सर्व शिक्षा अभियान श्री नीरज कुमार ने व्यवसायिक शिक्षा के क्षेत्र में प्रदेश सरकार द्वारा विभिन्न कार्यक्रमों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि बेरोजगारी को दूर करने के लिए शिक्षा के क्षेत्र में कड़ी मेहनत पर बल दिया जाना चाहिए।
इस अवसर पर गिरिजानंद चोैहान, नोडल अधिकारी व्यवसायिक शिक्षा ने व्यवसायिक शिक्षा के विकास के लिए प्रदान किए जा रहे बजट व अन्य गंभीर मुद्दों की जानकारी दी। सेमीनार में श्री मनीष मोहन, श्री तिलक धीमान, प्रतिनिधि वाधवानी फाउंडेशन,एन.एस.डी.सी. दिल्ली के प्रतिनिधि श्री शहबाज खान, मैक्स अस्पताल से डा. विकास ने व्यवसायिक शिक्षा के विभिन्न पहलुओं से अवगत करवाया ।