भीम सिंह, गांव देहरा हटवाड़, जिला बिलासपुर, हिमाचल प्रदेश।
गोली, बम्बों की आवाजें
जिन्हें नहीं डरा पाती हैं
जिनकी गोली दुश्मन का
सीना चीर निकल जाती है
मैं उनका गुणगान करता हूं
मैं उन्हें प्रणाम करता हूं।
जो रात दिन सीमाओं पर
खड़े होकर पहरा देते हैं
गर्मी, सर्दी, बरसात के
हर मौसम में डटे रहते हैं
मैं उनका गुणगान करता हूं
मैं उनको प्रणाम करता हूँ ।
जिनकी सुरक्षा मे हम सब
सुरक्षित हैं आजाद हैं
जिनके बलिदानों से देश का
कण-कण खुशहाल, आबाद है
मैं उनका गुणगान करता हूं
मैं उनको प्रणाम करता हूं।
जो हमारे लिए जीते हैं
जो हमारे लिए मर जाते हैं
जो अपने सुख की परवाह नहीं करते
जान तक वतन पर लुटा जाते हैं
मैं उनका गुणगान करता हूं
मैं उनको प्रणाम करता हूँ।
जिन्हें देख कर दुश्मन की
साँसें तक रुक जाती हैं
जिनके साहस शौर्य के आगे
दुश्मन की गर्दन झुक जाती है
मैं उनका गुणगान करता हूं
मैं उनको प्रणाम करता हूँ।